आलवार संत कौन थे और इनकी संख्या कितनी थी | Aalavaar Sant kaun the aur inakee sankhya kitanee thee
आलवार, मुख्यतः विष्णु भक्त थे। आलवार का शाब्दिक अर्थ मग्न होना होता है। माना जाता है दक्षिण में आलवारों की
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Read moreआदिकाल में प्रशस्ति-काव्य को ही ‘रासो’ कहा गया।यही प्रबंध काव्य परंपरा हिन्दी साहित्य में’रासो’ के नाम से पाई जाती है।
Read more“धर्म का प्रवाह कर्म, ज्ञान और भक्ति, इन तीन धाराओं में चलता है। इन तीनों के सामंजस्य से धर्म अपनी
Read moreनाटक- नाटक काव्य का एक रूप है जो श्रवण द्वार ही नहीं अपितु दृष्टी द्वार भी दर्शको का मनोरंजन करती
Read moreसंज्ञा किसे कहते है (What is a noun and how many types are there?) • किसी भी वस्तु, व्यक्ति, भाव,
Read moreसर्वनाम किसे कहते है (What is a pronoun and how many types are there?) • संज्ञा के स्थान पर प्रयुक्त
Read moreमोचीराम कविता | लेखक-सुदामा पाण्डे धूमिल (Mochiram poem Author-Sudama Pandey Dhumil) आदमी की कीमत हर दृष्टि से अलग-अलग होती है
Read moreसन्त कवि निर्गुणोपासक थे। वे ईश्वर को निर्गुण, निराकार, एवं सर्वव्यापी मानते हैं वे ईश्वर निर्गुण को राम, हरि नामों
Read moreआंचलिक उपन्यास में क्षेत्र विशेष को समग्रता से देखने का आग्रह तथा सास्कृतिक मूल्यों की सुरक्षा के प्रति आग्रह,लोक भाषा
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